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सूक्तियाँ II' से कुछ अंश -एक पुस्तक सुप्रीम मास्टर चिंग हाई (विगन) द्वारा, दो भाग शृंखला का भाग १

विवरण
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"हमें संत की विनम्र स्थिति तक ऊपर उठना चाहिए। और वह कारने के लिए हमारे पास होना चाहिए करुणा, प्रेम, समझदारी और निस्वार्थ त्याग हर समय।"